सोमवार, 4 अगस्त 2025

हम भी क्या दीवाने रहे

 


तुमसे ख़फ़ा होकर,
तुमसे ही दूर होकर,
तुम्हें ही दर-ओ-दीवार में ढूँढते रहे,
हम भी क्या खूब दीवाने रहे





सोमवार, 21 जुलाई 2025

अजीब सुकून है


जिसकी ख़ामोशी कभी देती थी इक अजीब सा दर्द,
अब उसी ख़ामोशी में दिल को सुकून मिलता है

कभी जिन नज़रों की तलब में आँखें भीग जाती थीं,
अब उसी नज़र के ख़याल से ही जी बहलता है

अजीब सुकून है इस बेआरामी की चादर में,
कि अब तो आराम भी, बेआराम सा लगता है



सोमवार, 7 जुलाई 2025

जो रंग न चढ़ा हो

 

जो बिछड़ गया  वो अब भी  दिल के किसी कोने में रहता है


जो रंग चढ़ा हो

वही सबसे हसीं लगता है

अपना आप किसे अच्छा लगता है  

💛🩷

जो बिछड़ गया

वो अब भी

दिल के किसी कोने में रहता है

और आज भी वो

अपना-सा ही लगता है

💛🩷 

और जो पास है

वो अपने से

ही दूर लगता है 

🎕💮🎕

सोमवार, 16 जून 2025

ਕਦੀ ਸੋਚਾਂ ਗਰ

 


ਕਦੀ ਸੋਚਾਂ ਗਰ

ਮੈਂ ਜ਼ਿੰਦਾ ਕ੍ਯੂਂ ਹਾਂ

 

ਤਾਂ ਖਿਆਲ ਆਂਦਾ ਹੈ ਕਿ

 

ਤੇਰੇ ਮਿਲਣ ਦੀ ਆਸ ਨੇ

ਮੈਨੂੰ ਮਰਨ ਵੀ ਨਹੀਂ ਦਿਤਾ

 

ਕਦੀ ਸੋਚਾਂ ਗਰ

ਤੇਰੇ ਮਿਲਣ ਦੀ ਆਸ

ਕ੍ਯੂਂ ਹੈ ਮੈਨੂੰ

ਤੇ ਖਿਆਲ ਆਂਦਾ ਹੈ ਕਿ

ਜੀਣ ਦਾ ਬਹਾਨਾ ਵੀ

ਹਰ ਕਿਸੀ ਨੂੰ

ਚਾਹੀਦਾ ਹੀ ਹੁੰਦਾ ਹੈ


सोमवार, 12 मई 2025

kuch yaaden - कुछ यादें